मैत्रेयनाथ
मैत्रेयनाथ ( 270-350 ई) नाम का उपयोग तीन बौद्ध विद्वानों ने किया ताकि योगाचार बौद्ध दर्शन के तीन संस्थापकों को अलग-अलग नाम से पहचाना जा सके। शेष दो योगाचार संस्थापक हैं- असंग तथा वसुबन्धु ।
कृतियाँ
मैत्रेयनाथ द्वारा रचित ग्रन्थों की सूची तिब्बती और चीनी बौद्ध परम्पराओं में अलग-अलग है। किन्तु निम्नलिखित ग्रन्थ प्रायः उनके द्वारा रचित माने जाते हैं-
- योगाचारभूमि शास्त्र
- महायानसूत्रालङ्कारकारिका
- धर्मधर्मताविभाग
- मध्यान्तविभागकारिका
- अभिसमयालङ्कार
- रत्नगोत्रविभाग