ब्रह्मगुप्त का सूत्र किसी चक्रीय चतुर्भुज का क्षेत्रफल निकालने का सूत्र है यदि उसकी चारों भुजाएँ ज्ञात हों। उस चतुर्भुज को चक्रीय चतुर्भुज कहते हैं जिसके चारों शीर्षों से होकर कोई वृत्त खींचा जा सके।I
सूत्र
a, b, c, d भुजाओं वाला चक्रीय चतुर्भुज
यदि किसी चक्रीय चतुर्भुज की भुजाएँ a, b, c, तथा d हों तो उसका क्षेत्रफल
जहाँ s उस चक्रीय चतुर्भुज का अर्धपरिमाप है, अर्थात्
ज्ञातव्य है कि हीरोन का सूत्र, ब्रह्मगुप्त के सूत्र की एक विशेष स्थिति है जब d=0. क्योंकि एक भुजा के शून्य हो जाने पर चतुर्भुज, त्रिभुज बन जाता है और प्रत्येक त्रिभुज 'चक्रीय' है (सभी त्रिभुजों के तीनों शीर्षों से होकर वृत्त खींचा जा सकता है।)।
उपर्युक्त नियम ब्राह्मस्फुटसिद्धान्त के गणिताध्याय के क्षेत्रव्यवहार के श्लोक १२.२१ में वर्णित है-
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