सुगत कुमारी
सुगत कुमारी | |
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पेशा | साहित्यकार |
भाषा | मलयालम भाषा |
राष्ट्रीयता | भारतीय |
विषय | कविता–संग्रह |
उल्लेखनीय कामs | रात्रिमष़ |
सुगत कुमारी (मलयालम: സുഗതകുമാരി, अँग्रेजी: Sugathakumari, जन्म: 3 जनवरी 1934) भारत से मलयालम भाषा की एक कवयित्री और सामाजिक कार्यकर्ता है। वे दक्षिण भारत के केरल राज्य से पर्यावरण और नारीवादी आंदोलनों के मामले में अग्रणी भूमिका निभाने वाली एक प्रखर महिला है।[1][2] इनके द्वारा रचित एक कविता–संग्रह रात्रिमळ के लिये उन्हें सन् 1978 में साहित्य अकादमी पुरस्कार से सम्मानित किया गया। सन २००६ में उन्हें पद्मश्री से सम्मानित किया गया।
२३ दिसम्बर २०२० को कोविड-१९ के कारण उनका निधन हो गया।
कृतियाँ
- मुत्तुच्चिप्पि (1961)
- पातिराप्पूक्कळ् (मध्यरात्रि के फूल ; 1967) (केरल साहित्य अकादमि पुरस्कार प्राप्त कृति)
- पावम् मानवहृदयम् (बेचारा मानवहृदय ; 1968)
- प्रणामम् (नमस्कार ; 1969)
- इरुळ् चिऱकुकळ् (अंधकार के पंख ; 1969)
- रात्रिमऴ (रात की वर्षा ; 1977) (साहित्य अकादमी पुरस्कार)
- अम्पलमणि (काव्य ; मंदिर की घण्टी ; 1981)
- कुऱिञ्ञिप्पूक्कळ् (कुरिञी के फूल ; 1987)
- तुलावर्षप्पच्च (वर्षा काल की हरियाली ; 1990) (विश्वदीपम पुरस्कार)
- राधयॆविटॆ (राधा कहाँ है? ; 1995) (अबुधाबी मलयाली समाज पुरस्कार)
- कृष्णकवितकळ् (जन्माष्टमी पुरस्कार, ऎऴुकोऩ शिवशङ्करन् साहित्य पुरस्कार)
- मेघं वन्नु तॊट्टप्पोळ्
- देवदासि
- वाऴत्तेन्
- मलमुकळिलिरिक्कॆ
- सैलन्ऱ् वालि (निश्शब्द वनम्)
- वायाटिक्किळि
- काटिनु कावल्
- काव् तीण्टल्ले ( लेखनङ्ङळ् )
- वारियॆल्ल् ( लेखनङ्ङळ् )
सन्दर्भ
- ↑ "Saraswati Samman for Sugathakumari" [संगठाकुमारी को सरस्वती सम्मान]. केरला कौमुदी (अंग्रेज़ी में). Kaumudiglobal.com. 18 मार्च 2013. मूल से 14 जुलाई 2014 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 3 जून 2014.
- ↑ "Status of women declining: Sugathakumari" [घट रही महिलाओं की स्थिति: संगठाकुमारी]. दि हिन्दू (अंग्रेज़ी में). तिरुवनन्तपुरम, भारत. 3 नवम्बर 2000. मूल से 1 अक्तूबर 2005 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 3 जून 2014.