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साबाह सारावाक केलुआर मलेशिया

साबाह (नीला रंग) और सारावाक (जामुनी रंग) मलेशिया की मुख्यभूमि से सुदूर है और भौगोलिक, जातीय व सांस्कृतिक रूप से भिन्न है। यहाँ मलेशिया से अलग होने की मांगें उठती रहती हैं।

साबाह सारावाक केलुआर मलेशिया (Sabah Sarawak Keluar Malaysia) एक अलगाववादी संगठन है जो साबाह और सारावाक को मलेशिया से स्वतंत्र करने का प्रयास कर रहा है। यह दोनों क्षेत्र मलेशिया की मुख्यभूमि से दूर बोर्नियो द्वीप पर स्थित हैं और जातीय, भौगोलिक और सांस्कृतिक दृष्टि से उस से पृथक हैं।[1][2]

अलगाववाद की जड़ें

मलेशिया में मलय और सम्बन्धित जातियों का बाहुल्य है और सन् 2012 में जनसंख्या में उनका हिस्सा 67% मापा गया था। लेकिन साबाह में यह केवल 26% और सारावाक में केवल 21% था। क्षेत्रफल में मुख्यभूमि मलेशिया (जो पश्चिमी मलेशिया भी कहलाता है) देश के कुल क्षेत्रफल का केवल 40% है, जबकि साबाह-सारावाक 60% है, लेकिन मुख्यभूमि का जन-घनत्व साबाह-सारावाक से बहुत अधिक है। मलेशिया की सरकार पर आरोप है कि वह जातीयता बदलने के लिए मुख्यभूमि से साबाह व सारावाक में मलय लोग भेज रही है, जिस से भी अलगाववादी भावना भड़कती है।

इन्हें भी देखें

सन्दर्भ

  1. "Group draws up self determination petition for Sarawak and Sabah". The Borneo Post. 13 August 2014. मूल से 12 नवंबर 2014 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 12 November 2014.
  2. "On Malaysia’s National Day, Sabah and Sarawak question place in nation Archived 2019-09-28 at the वेबैक मशीन," Tashny Sukumaran, South China Morning Post, 16 Sep 2019, ... Already, he said, niche secessionist movements within both states were gaining steam as the federal government continued to dither on the promised decentralisation of powers ...