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वोलापूक भाषा

वोलापूक आन्दोलन का लोगो (दूसरा चरण)।

वोलापूक भाषा (Volapük) एक कृत्रिम भाषा है, जिसे १८७९-१८८० में जॉहान मार्टिन स्कैलियेर नामक एक रोमन कैथलिक पादरी ने बाडन, जर्मनी में निर्मित किया था। स्कैलियेर को यह अनुभव हुआ कि ईश्वर ने उसे कहा है कि वह एक अन्तर्राष्ट्रीय भाषा का निर्माण करे। वोलापूक सम्मेलन १८८४ में फ़्रीड्रिकशैफ़न, १८८७ में म्यूनिख और १८८९ में पेरिस में हुआ था। प्रथम दो सम्मेलनों में जर्मन का उपयोग हुआ था और अन्तिम सम्मेलन में केवल वोलापूक का। वर्ष १८८९ में वोलापूक भाषा में या इसके बारे में २८३ क्लब, २५ नियतकालिक पत्रिकाएँ और २५ भाषाओं में ३१६ पाठ्यपुस्तकें उपलब्ध थीं। वर्ष २००० के अनुमाक अनुसार पूरे विश्व में इस भाषा को बोलने वालों की संख्या २०-३० तक है। फ़्रवरी २०१२ की स्थिति तक वोलापूक भाषा विकिपीडिया पर लेखों की संख्या १,१९,००० के लगभग है और यह सैतीसवाँ सबसे बड़ा विकिपीडिया संस्करण है।

वर्णमाला

वोलापूक भाषा में २७ अक्षर हैं:

आगे बढ़ने का क्रम --->

AaÄäBbCcDdEeFfGgHh
IiJjKkLlMmNnOoÖöPp
RrSsTtUuÜüVvXxYyZz

व्याकरण

स्कैलियेर ने वोलापूक के लिए अंग्रेज़ी से शब्दावली ली थी और कुछ तत्व जर्मन और फ़्रान्सीसी भाषाओं से भी जोड़े थे। बहुत बार धब्दों को पहचान पाना कठिन होता है। उदाहरण के लिए "vol" और "pük" शब्द अंग्रेज़ी के दो शब्दों "world" (विश्व) और "speak" (भाषा) से लिए गए हैं।

सन्दर्भ

बाहरी कड़ियाँ