प्राणतत्ववाद
प्राणतत्ववाद (Vitalism) एक विश्वास है कि जीवित वस्तुएँ मूल रूप से निर्जीव वस्तुओं से भिन्न हैं क्योंकि उनमें कुछ गैर-भौतिक तत्व होते हैं या वे निर्जीव वस्तुओं की तुलना में भिन्न सिद्धाnतों द्वारा परिचालित होते हैं। [a]
१८वीं और १९वीं शताब्दी में दो विचार वाले जीवविज्ञानी थे। एक प्रकार के जीइवविज्ञानी वे थे जो यह कहते थे कि कि भौतिकी के ज्ञात सिद्धान्त अन्ततः जीवन और निर्जीवन के अन्तर की व्याख्या करने में सफल होंगे जबकि दूसरे तरह के जीवविज्ञानी यह मानते थे कि जीवन की प्रक्रियाओं को यंत्रवत प्रक्रियाओं के रूप में अभिव्यक्त नहीं किया जा सकता।
सन्दर्भ
- ↑ Evelyn Fox Keller, Making Sense of Life Explaining Biological Development with Models, Metaphors, and Machines. Harvard University Press, 2002.
- ↑ Ruse, Michael (2013). "17. From Organicism to Mechanism-and Halfway Back?". प्रकाशित Henning, Brian G.; Scarfe, Adam (संपा॰). Beyond Mechanism: Putting Life Back Into Biology. Lexington Books. पृ॰ 419. आई॰ऍस॰बी॰ऍन॰ 9780739174371.
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