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पाकिस्तान अधिराज्य

مملکتِ پاکستان
পাকিস্তান অধিরাজ্য
पाकिस्तान अधिराज्य

१९४७-१९५६ [1]
ध्वजप्रतीकचिन्ह
राष्ट्रिय ध्येय
ईमान, इत्तेहाद, तन्ज़ीम
ایمان ، اتحاد ، تنظیم
"आस्था, एकता, अनुशासन"
राष्ट्रगान
क़ौमी तराना(1954–1956)
قومی ترانہ
पाकिस्तान का मानचित्र में स्थान
पाकिस्तान अधिराज्य, 1956
राजधानीक़रांची
भाषाएँउर्दू(राजभाशा व राष्ट्रभाषा), बांग्ला, अंग्रेज़ी(सह-राजभाषा
धार्मिक समूहइस्लाम, सनातन धर्म
शासनसंवैधानिक राजतंत्र
नरेश
 -  1947–1952 ज्यौर्ज(षष्ठम)
 - 1952–1956 एलिज़बेथ (द्वितीय)
महाराज्यपाल(गवर्नर-जेनरल)
 - 1947–1948मुहम्मद अलि जिन्नाह(प्रथम)
 - 1948–1951 ख़वाजा नज़ीमुद्दीन
 - 1951–1955 मालिक ग़ुलाम मुहम्मद
 - 1955–1956 इस्कन्दर मिर्ज़ा (अंतिम)
प्रधानमंत्री
 - 1947–1951 लियाक़त अलि ख़ान
 - 1951–1953 ख़वाजा नज़ीमुद्दीन
 - 1953–1955 मुहम्मद अलि बोगरा
 - 1955–1956 चौधरी मुहम्मद अलि
विधायिकासंविधानसभा
ऐतिहासिक युगमध्य 20वीं सदी, शीत युद्ध
 - भारतीय स्वतंत्रता अधिनियम १९४७15 आगस्त १९४७
 - १९४७ का भारत-पाक युद्ध22 अक्टूबर 1947
 - पहले संविधान का परवर्तन23 मार्च १९५६
क्षेत्रफल
 - 1956 9,43,665 किमी ² (3,64,351 वर्ग मील)
मुद्रापाकिस्तानी रुपया
आज इन देशों का हिस्सा है:Flag of पाकिस्तान पाकिस्तान
Flag of बांग्लादेश बांग्लादेश

पाकिस्तानी अधिराज्य (उर्दू: ﻣﻤﻠﮑﺖِ ﭘﺎﮐﺴﺘﺎﻥ, मुम्लिक़ात्'ए पाकिस्तान; बांग्ला: পাকিস্তান অধিরাজ্য, पाकिस्तान ओधिराज्जो) नवनिर्मित देश, पाकिस्तान की स्वायत्त्योपनिवेशिय अवस्था थी। इस शासनप्रणाली के तहत पाकिस्तान को भारत विभाजन के बाद, ब्रिटिश साम्राज्य का एक स्वशासित व स्वतंत्र इकाइ(अधिराज्य) के रूप में स्थापित किया गया था। पाकिस्तानी अधिराज्य की स्थापना भारतीय स्वतंत्रता अधिनियम १९४७ के तहत ब्रिटिश भारत के विभाजन के बाद तथाकथित तौर पर भारतिय उपमहाद्वीप की मुस्लिम आबादी के लिए हुआ था। एसकी कुल भूभाग मौजूदा इस्लामिक गणराज्य पाकिस्तानबांग्लादेश के बराबर थी। 1956 में पाकिस्तान का पहला संविधान के लागू होने के साथ ही "पाकिस्तान अधिराज्य" की विस्थापना हो गई जब अधिराजकिय राजतांत्रिक व्यवस्था को इस्लामिक गणराज्य से बदल दिया गया। इस व्यवस्था के तहत पाकिस्तान ब्रिटिश हुक़ूमत से स्वतंत्र हो गया एवं ब्रिटिश राष्ट्रमंडल का हिस्सा होने के नाते अन्य ब्रिटिश स्वायत्त्योपनिवेशों की ही तरह, ब्रिटेन के राजा(ततकालीन जार्ज षष्ठम) को पाकिस्तान के राजा का प्रभार भी सौंप दिया गया, हालांकी, (तथ्यस्वरूप) पाकिस्तान के राजा का लग-भग सारा संवैधानिक व कार्याधिकार पाकिस्तान में उनके प्रतिनिधी पाकिस्तान के महाराज्यपाल (गवर्नर-जनरल) के अधिकार में था। ऐसी व्यवस्था सारे ब्रिटिश-स्वायत्त्योपनिवेशों में रहती है। पाकिस्तान अधिराज्य कुल 9 सालों तक, १९४७ से १९५६ तक अस्तित्व में रहा था, जिस बीच 4 महाराज्यपालों की नियुक्ती हुई थी। भारत विभाजन व स्वतंत्रता के बाद संयुक्त राष्ट्र में ब्रिटिश भारत की सदस्यता भारतीय अधिराज्य को दे दी गई जबकी पाकिस्तान ने नई सदस्यता प्राप्त की।

भूक्षेत्र

पाकिस्तानी अधिराज्य, की प्रशासनिक व्यवस्था संघीय ढाँचे पर आधारित थी। इसके भूक्षेत्र में ब्रिटिश-शासित भारत के पाँच प्रांत थे: पूर्वी बंगाल(मौजूदा बांग्लादेश), पश्चिमी पंजाब, बलूचिस्तान, सिंध और उत्तर-पश्चिम सीमांत प्रांत। हर प्रांत के शासनप्रभार के लिये, महाराज्यपाल द्वारा, एक राज्यपाल को नियुक्त किया जाता। साथ ही कुछ रियासतों ने भी पाकिस्तानी संध में शामिल होने का प्रस्ताव स्वीकार किया था। यह रियासतें थीं: बहावलपुर रियासत, ख़ैरपुर, स्वात, दिर, हुंज़ा, चित्राल, मकरान और कलात

इतिहास

पाकिस्तान आन्दोलन

भारत विभाजन

पाकिस्तान की स्थापना पाकिस्तान आंदोलन का परिणाम था, जिसे मुहम्मद अली जिन्नाह् के नेत्रित्व में तथाकथित रूप से भारतिय उपमहाद्वीप के मुसलमान आबादी के लिये किया गया था। सन 1947 में भारतीय स्वतंत्रता अधिनियम के पारित होने के साथ ही, भारत विभाजन के बाद पाकिस्तान की स्थापना हुई थी। इस विभाजन के तहत ब्रिटिश भारत के पूर्वी व पष्चिमी छोरों पर मुस्लिम बहुल इलाकों को पाकिस्तान में शामिल कर दिया गया। साथ ही इसी विभाजन के तहत, ब्रिटिश-भारत के पंजाब एवं बंगाल प्रांतों को भी विभाजित कर दिया गया और पूर्वी बंगाल और पश्चिमी पंजाब को पाकिस्तान में सम्मिलित कर दिया गया।

रैडक्लिफ़ रेखा

कुख्यात एवं विवादात रैडक्लिफ़ रेखा वह रेखा थी जिसे भारत गणराज्यइस्लामिक गणराज्य पाकिस्तान के बीच की अंतर्राष्ट्रीय सीमा के रूप में दोनों पक्षों द्वारा माना गया था। यह रेखा पश्चिम में गुजरात एवं राजस्थान की सीमा से एवं पंजाब को विभाजित करते हुए उसके बीच से गुज़रती थी। पूर्व में यह रेखा बंगाल को विभाजित करती थी। विभाजन के बाद, धर्म के नाम पर लाखों लोगों ने इस रेखा के दोनो पार पलायन किया था।

महारानी एलिज़्ज़ाबेथ की ताजपोषी

सन 1953 में रानी एलिज़ाबेथ द्वितीय ने विरासत में अपने पिता जाॅर्ज षष्ठम से यूनाइटेड किंगडम एवं अन्य ब्रिटिश स्वायत्त्योपनिवेशों की राजसत्ता एवं राजपाट प्राप्त किया। इसी के साथ उन्हों नें पाकिस्तान की रानी का प्रभार भी संभाल लिया।

संविधिन का परवर्तन

सन १९५६ में पाकिस्तान के पहले संविधान के लागू होने के साथ ही पाकिस्तान अधिराज्य की विस्थापना हो गई और पाकिस्तान को एक इस्लामिक गणराज्य घोषित कर दिया गया।

राजतांत्रिक व्यवस्था

पाकिस्तान के महाराज्यपाल का व्यक्तिगत ध्वज

पाकिस्तान अधिराज्य मूल रूप से एक स्वायत्त्योपनिवेशिय प्रशासनिक प्रणाली थी जो ब्रिटिश राष्ट्रमंडल प्रदेश का हिस्सा था एवं ब्रिटिश साम्राज्य का एक अधिराज्य था। अधिराजकीय राजतंत्रिक व्यवस्था में सारे स्वायत्त्योपनिवेशों (या अधिराज्य) का केवल एक ही नरेश एवं एक ही राजघराना होता है, अर्थात सारे अधिराज्यों पर एक ही व्यक्ति (सम्राट, नरेश राजा या शासक) का राज होता है। यह नरेश, हर एक अधिराज्य पर सामान्य अधिकार रखता है एवं हर अधिराज्य में संवैधानिक व कानूनन रूप से उसे राष्ट्राध्यक्ष का दर्जा प्राप्त होता है। यह होने के बावजूद सारे अधिराज्य स्वतंत्र एवं तथ्यस्वरूप स्वतंत्र रहते हैं क्योंकि हर देश में अपनी खुद की स्वतंत्र सरकार होती है और नरेश का पद केवल परंपरागत एवं कथास्वरूप का होता है। शासक का संपूर्ण कार्यभार एवं कार्याधिकार उस देश के महाराज्यपाल के नियंत्रण में रहता है जिसे तथ्यस्वरूप सरकार द्वारा नियुक्त किया जाता है। इस तरह की व्यवस्था सार्थक रूप से ब्रिटिश साम्राज्य व ब्रिटिश-राष्ट्रमंडल प्रदेशों (ब्रिटेन, कैनडा, ऑस्ट्रेलिया, आदि) व पूर्व ब्रिटिश अधिराज्यों की शासन प्रणाली में देखी जा सकती है। पाकिस्तान अधिराज्य की स्थापना पाकिस्तान आंदोलन का परिणाम था। यह करीब 9 सालों तक अस्तित्व में रहा। जिसके बाद पाकिस्तानी संविधान के लागू होने के बाद पाकिस्तान, ब्रिटिश साम्राज्य से परे एक इस्लामिक गणतंत्र बन गया। इस बीच पाकिस्तान में दो शासकों की ताजपोशी हुई, महाराज जौर्ज षष्ठम एवं उन्की पुत्री, महारानी एलिज़्ज़ाबेथ द्वितीय। साथ ही चार व्यक्तियों ने पाकिस्तान के महाराज्यपाल का प्रभार संभाला।

पाकिस्तान के नरेशों की सूची

विंडसाॅर राजघराना
चित्र नाम जन्मतिथी मृत्युतिथी पदग्रहण की तिथी पदत्याग की तिथी पूर्व पदग्रही से संबंध
( विवरण)
महाराज जाॅर्ज (षष्ठम)14 दिसंबर 1895 6 फ़रवरी 1952 15 अगस्त 1947 26 जनवरी 1950 निःशून्य
(पाकिस्तान के प्रथम नरेश)
महारानी एलिज़ाबेथ (द्वितीय)21 अप्रैल 1926 6 फ़रवरी 1952 23 मार्च 1956 जॉर्ज षष्ठम की पुत्री
(अंतिम नरेश)

पाकिस्तान के महाराज्यपालों कि सुची

नाम चित्र कार्यालय - प्रवेश कार्यालय - त्याग
मुहम्मद अली जिन्ना15 अगस्त 1947 11 सितंबर 1948
ख्वाजा नज़ीमुद्दीन14 सितंबर 1948 17 अक्टूबर 1951
मालिक ग़ुलाम मुहम्मद17 अक्टूबर 1951 6 अक्टूबर 1955
इस्कंदर मिर्ज़ा6 अक्टूबर 1955 23 मार्च 1956

सन्दर्भ

  1. Timothy C. Winegard (29 December 2011). Indigenous Peoples of the British Dominions and the First World War (1st संस्करण). Cambridge University Press. पृ॰ 2. आई॰ऍस॰बी॰ऍन॰ 978-1107014930. मूल से 7 अप्रैल 2014 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 11 August 2013.