तीनतंगा गाँव, गोपालपुर (भागलपुर)
तीनतंगा गोपालपुर, भागलपुर, बिहार में स्थित एक गाँव है जो आजादी से पहले एक जमीनदारी थी एवं नौगछिया क्षेत्र के मशहूर जमीनदार एवं स्वतंत्रता सेनानी महेश्वरी प्रसाद यादव इसी गांव के जमीनदार थे।[1][2]
इतिहास
समस्तीपुर के धमौन से भागलपुर आए त्रिभुवन दास ने गंगा के किनारे जंगल हटाकर तीनतंगा गांव बसाया और मुगल बादशाह से सनद लेकर चौसा, काझा एवं धर्मपुर पर अपना अधिकार कर लिया। त्रिभुवन दास ने 1785 ईस्वी मे नवाब इब्राहिम खान से सनद लेकर खुदको तीनतंगा एवं पूरे गोपालपुर परगना का मालिक घोषित करदिया आगे चलके उनके वंशज निहालचंद दास,लालचंद दास (लूचाई बाबू), फूलचंद दास (फ़ूचाई बाबू) का इस क्षेत्र पर अधिकार रहा। अंग्रेजी काल मे नवाब अब्दुल वहाब खान को यह इलाक़ा दे दिया गया पर गोप संतलाल दास ने जमींदारी पर से अपना अधिकार छोरने से मना करदिया और नवाब अब्दुल वहाब खान के खिलाफ अंग्रेजी अदालत मे मुकदमा दायर करदिया जिसके बाद गोप संतलाल दास का इस इलाके पे अधिकार बना रहा। आम लोगों पर अंग्रेजी हुकूमत के बढ़ते अत्याचार एवं जमीनदारो पर कर का अत्यधिक बोझ होने से परेशान आकर गोप संतलाल दास के पुत्र गोप महेश्वरी दास उर्फ महेश्वरी प्रसाद यादव ने अंग्रेजों के खिलाफ विद्रोह करदिया जिसके बाद तीनतंगा एस्टेट को सरकार ने ज़ब्त करलिया एवं खासमहाल क्षेत्र घोषित करदिया । फिरभी भूमि सुधार अधिनियम आने तक संतलाल गोप एवं उनका परिवार चौसा,काझा,धर्मपुर एवं तीनटंगा के जमीनदार बने रहे।
वंशावली
त्रिभुवन दास | भुवनेशरी दास (तिनतंगा आकर बसे) | लालचंद दास (लुचाई बाबू) | फूलचंद दास (फुचाई बाबू) | गोप संतलाल दास (गोप जातीय महासभा के संस्थापक सदस्य 1910) | महेश्वरी दास (महेश्वरी प्रसाद यादव) एवं अन्य 4 भाई
सन्दर्भ
- ↑ "Tintanga Village in Gopalpur (Bhagalpur) Bihar | villageinfo.in". villageinfo.in. अभिगमन तिथि 2022-01-11.
- ↑ Bhartiya, Ranjeet (2022-06-18). "यादव रियासत, Princely State/Estate/Zamindari of Yadavas". Jankari Today (अंग्रेज़ी में). अभिगमन तिथि 2023-08-13.
- ↑ Hunter, William Wilson (1877). A Statistical Account of Bengal (अंग्रेज़ी में). Trübner & Company.
- ↑ Bihar (India) (1936). Bihar in ... (अंग्रेज़ी में). Superintendent, Government Printing.