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कुचामन का किला

कुचामन का दुर्ग राजस्थान। यह किला पर्वत के सबसे ऊपरी हिस्से पर स्थित है जैसे कि एक चील का घोंसला होता है। इसका निर्माण महाराजा रुघनाथ सिंह जी मेड़तिया मारोठ के पौत्र जालम सिंह ने कुचामन, के किले का निर्माण 1727 में करवाया था

कुचामन का किला अपने प्रखर और भीमकाय परकोटो, 32 दुर्गों, 10 द्वारो और विभिन्न प्रतिरोधक क्षमता वाला किला है। यह एकमात्र अनोखी वास्तुकला वाला किला है। इस किले में जल संरक्षण और प्रबंधन की अच्छी व्यवस्थाहै। किले में कई भूमिगत टैंक आज भी विद्यमान है कुचामन किले में कई भूमिगत गुप्त ठिकाने, प्राचीन अंधकूप, कारागार हैं जिन्हें आज भी देखा जा सकता है। वर्तमान मे अब ये हेरिटेज होटल में तब्दील हो गया है और यहा बौलीवुड फिल्मो की सूटिंग होती है।

सन्दर्भ

  • (1) प्रतिहारों का मूल इतिहास लेखक - देवी सिंह मंडावा
  • (2) विंध्य क्षेत्र के प्रतिहार वंश का इतिहास लेखक - डा अनुपम सिंह
  • (3) परिहार वंश का प्रकाश लेखक - मुंशी देवी प्रसाद
  • (4) नागौद परिचय लेखक - जगन्नाथ प्रसाद चतुर्वेदी
  • (5) मण्डौर का इतिहास लेखक - श्री सिंह

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