सामग्री पर जाएँ

कानूराम देवगम

कानूराम देवगम

हो समुदाय के कानूराम देवगम जो कि सांसद भी रहे हैं, सामाजिक सुधार तथा सांस्कृतिक पुनर्जागरण के लिए अनवरत प्रयासरत रहे। समाज में जागृति लाने के लिए कानूराम देवगम ने अनेक गीतों की रचना की जो बाद में ‘हो दुरंग पोथी’ के रूप में प्रकाशित हुई। कानूराम देवगम की दृढ़ धारणा थी कि मातृभाषा में रचित साहित्य सामाजिक चेतना को विकसित करने का एकमात्र औजार है। अपने गीतों की लोकप्रियता तथा अगुआ सामाजिक भूमिका के कारण कानूराम सांसद बने और देश की सर्वोच्च लोकतांत्रिक संस्था संसद में हो लोगों का प्रतिनिधित्व किया। 1948 ई. मंे इनकी एक हो लोककथा ‘मैन इन इंडिया’ (रांची) में एससी राय ने छापी थी।

सन्दर्भ

  • पुरखा झारखंडी साहित्यकार और नये साक्षात्कार: वंदना टेटे (सं), प्यारा करेकेट्टा फाउंडेशन, रांची 2012


झारखंड के प्रसिद्व लोग

बिरसा मुण्डा|जयपाल सिंह मुंडा|तिलका माँझी|गंगा नारायण सिंह|सिद्धू कान्हू|अलबर्ट एक्का|राजा अर्जुन सिंह| जतरा भगत|गया मुण्डा|फणि मुकुट राय|दुर्जन साल|मेदिनी राय|बुधू भगत|जगन्नाथ सिंह|तेलंगा खड़िया|रघुनाथ सिंह|पाण्डे गणपत राय|टिकैत उमराँव सिंह|शेख भिखारी|मुंडल सिंह|महेंद्र सिंह धोनी|करिया मुंडा|प्रेमलता अग्रवाल|दीपिका कुमारी|राम दयाल मुंडा|अंजना ओम कश्यप|बिनोद बिहारी महतो|शिबू सोरेन|निर्मल महतो|अर्जुन मुंडा|बाबूलाल मरांडी|रघुवर दास|हेमंत सोरेन|संबित पात्रा