का
का प्राचीन मिस्रियों के धर्म में द्वितीय आत्मा, जिसका चित्र उनकी लिपि में दो ऊपर उठाए हाथों के रूप में लिखा मिलता है। प्राचीन मिस्री प्राय: तीन आत्माओं में विश्वास करते थे। एक तो शरीर के मरने के साथ ही मर जाया करती थी, पर दो – 'का' और 'बई' – शारीरिक मृत्यु के बाद भी जीवित रहती थीं। 'का' का जन्म शरीर के साथ ही होता था जो जीवनकाल में शरीर की रक्षा करती थी और उसके मर जाने पर भी स्वयं जीवित रह जाती थी।