अन-नास
| ٱلناس अन-नास | |
|---|---|
| वर्गीकरण | मक्की | 
| रुकू की संख्या | १ | 
| शब्दों की संख्या | २० | 
| अक्षरो की संख्या | ८० | 
| क़ुरआन | 
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अल-नास (الناس) : क़ुरआन का 114 वां सूरा (अध्याय) है. इस में 6 आयतें हैं.
लिप्यांतरण
بِسْمِ اللَّهِ الرَّحْمَٰنِ الرَّحِيمِ
बिस्मिल्ला हिर्रह्मा निर्रहीम 
قُلْ أَعُوذُ بِرَبِّ النَّاسِ
 1. क़ुल अऊज़ु बिरब्बिन-नास 
 مَلِكِ النَّاسِ
 2. मालिकिन-नास
 إِلَٰهِ النَّاسِ
 3. इलाहिन-नास
 مِنْ شَرِّ الْوَسْوَاسِ الْخَنَّاسِ
 4. मिन शररिल वसवासिल ख़न्नास 
 الَّذِي يُوَسْوِسُ فِي صُدُورِ النَّاسِ
 5. अल्लज़ी युवास्विसु फ़ी सुदूरिन्नास 
 مِنَ الْجِنَّةِ وَالنَّاسِ
 6. मिनल-जिन्नति वन्नास 
अनुवाद
1. (ऐ रसूल) तुम कह दो मैं लोगों के परवरदिगार 
 2. लोगों के बादशाह 
 3. लोगों के माबूद की (शैतानी) 
 4. वसवसे की बुराई से पनाह माँगता हूँ
 5. जो (ख़ुदा के नाम से) पीछे हट जाता है जो लोगों के दिलों में वसवसे डाला करता है 
 6. जिन्नात में से ख्वाह आदमियों में से 
सन्दर्भ
बाहरी कड़ियाँ
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